Mv act 1988 धारा २ : परिभाषाएं :

मोटर यान अधिनियम १९८८
धारा २ :
परिभाषाएं :
इस अधिनियम में, जब तक कि संदर्भ से अन्यथा अपेक्षित न हो ,-
१.(१) रुपांतरित यान से कोई मोटर यान अभिप्रेत है, जिसे या तो विनिर्दिष्टत: डिजाइन और विनिर्मित किया गया है या जिसमें किसी शारीरिक विकार या नि:शक्तता से पीडित व्यक्ति के उपयोग के लिए धारा ५२ की उपधारा (२) के अधीन परिवर्तन किए गए हैं और उसका ऐसे व्यक्ति द्वारा या उसके लिए एकमात्र रुप से उपयोग किया जाता है ;
(1A)१क) समूहक से कोई डिजीटल मध्यवर्ती या किसी यात्री के लिए परिवहन के प्रयोजन के लिए चालक से संयोजित होने के लिए कोई बाजार स्थान अभिप्रेत है;
(1B)१ख) इस अधिनियम के किसी उपबंध के संबंध में क्षेत्र से ऐसा क्षेत्र अभिप्रेत है जैसा राज्य सरकार उस उपबंध की अपेक्षाओं को ध्यान में रखते हुए अधिसूचना द्वारा विनिर्दिेट करे;)
२)सलग्न यान से ऐसा मोटर यान अभिप्रेत है जिससे कोई अध्र्द-ट्रेलर संलग्न है ;
३)किसी यान की धुरी के संबंध में धुरी भार से उस धुरी के साथ लगे हुए कई पहियों द्वारा, उस भू-तल पर, जिस पर वह यान टिका हुआ है, संप्रेषित कुल भार अभिप्रेत है;
४)रजिस्ट्रीकरण प्रमाणपत्र से सक्षम प्राधिकारी द्वारा दिया गया इस आशय का प्रमाणपत्र अभिप्रेत है कि मोटर याने को अध्याय ४ के उपबंधों के अनुसार सम्यक् रूप से रजिस्टर कर दिया गया है;
4A)२.(४क) समुदाय सेवा से कोई असंदत्त कार्य अभिप्रेत है जिसका किसी व्यक्ति द्वारा इस अधिनियम के अधीन किए गए किसी अपराध के लिए दंड के रुप में किया जाना अपेक्षित है;)
५)मंजिली गाडी के संबंध में, कन्डक्टर से वह व्यक्ति अभिप्रेत है जो यात्रियों से किराया संगृहीत करने, उनका मंजिली गाडी में प्रवेश करना या उसमें से बाहर जाना विनियमित करने और ऐसे अन्य कृत्य करने में लगा हुआ है जो विहित किए जाएं ;
६)कन्डक्टर अनुज्ञप्ति से सक्षम प्राधिकारी द्वारा अध्याय ३ के अधीन दी गई अनुज्ञप्ति अभिप्रेत है जो उसमें विनिर्दिष्ट व्यक्ति को कन्डक्टर के रूप में कार्य करने के लिए प्राधिकृत करती है ;
७)ठेका गाडी से ऐसा मोटर यान अभिप्रेत है जो भाडे या पारिश्रमिक पर यात्री या यात्रियों का वहन करता है और जो किसी व्यक्ति द्वारा ऐसे यान के संबंध में किसी परमिट के धारक या इस निमित्त उसके द्वारा प्राधिकृत किसी व्यक्ति के साथ ऐसे सम्पर्ण यान के उपयोग के लिए की गई किसी अभिव्यक्त या विवक्षित संविदा के अधीन, उसमें वर्णित यात्रियों के, किसी नियत या तय हुई दर या धनराशि पर, –
(a)क)समय के आधार पर, चाहे वह किसी मार्ग या दूरी के प्रति निर्देश से है अथवा नहीं; या
(b)ख)एक स्थान से अन्य स्थान तक,
वहन में लगा है, और इन दोनों में से किसी भी दशा में, यात्रा के दौरान ऐसे यात्रियों को, जों संविदा में सम्मिलित नहीं है, चढाने या उतारने के लिए कहीं भी रूकता नहीं है, और इसके अन्तर्गत –
१)बडी टैक्सी; और
२)मोटर टैक्सी, इस बात के होते हुए भी है कि इसके यात्रियों से अलग-अलग किराए प्रभारित किए जाते है;
८) व्यवहारी के अन्तर्गत कोई ऐसा व्यक्ति है जो –
३.(***)
(b)ख) चैसिस से संलग्न करने के लिए बाडियों के निर्माण ; या
(c)ग) मोटर यानों की मरम्मत; या
(d)घ) मोटर यानों के आड्मान, पट्टा पर देने या अवक्रय,
में लगा हुआ है;
९)ड्राईव्हर के अंतर्गत किसी ऐेसे मोटर यान के संबंध में जो किसी अन्य मोटर यान से चलाया जाता है, वह व्यक्ति भी है जो चलाए जाने वाले यान के अनुचालक के रूप में कार्य करता है;
9A)४.(९क) चालक पुनश्चर्या प्रशिक्षण पाठ्यक्रम से धारा १९ की उपधारा (२क) में निर्दिष्ट पाठ्यक्रम अभिप्रेत है;)
१०)चालन-अनुज्ञप्ति से ऐसी अनुज्ञप्ति अभिप्रेत है जो सक्षम प्राधिकारी द्वारा अध्याय २ के अधीन दी गई है और जो उसमें विनिर्दिष्ट व्यक्ति को मोटर यान या किसी विनिर्दिष्ट वर्ग या वर्णन का मोटर यान शिक्षार्थी से भिन्न रूप में चलाने के लिए प्राधिकृत करती है;
११)शिक्षा संस्था बस से ऐसी कोई बस अभिप्रेत है जो किसी महाविद्यालय, विद्यालय या अन्य शिक्षा संस्था के स्वामित्वाधीन है और जिसका उपयोग शिक्षा संस्था के किसी क्रियाकलाप के संबंध में, विद्यार्थीयों और कर्मचारिवृन्द के परिवहन के प्रयोजन के लिए ही किया जाता है;
१२)किराए के अंतर्गत वे धनराशियां हैं जो किसी सीजन टिकट के लिए अथवा ऐका गाडी के भाडे की बाबत संदेय हैं;
12A)५.(१२क) स्वर्णिम घंटा से अभिघात, क्षति के पश्चात् एक घंटे तक रहने वाली कालावधि अभिप्रेत है जिसके दौरान तुरंत चिकित्सा देखरेख प्रदान करके मृत्यु को निवारित करने की अधिकतम संभावना है;)
१३)माल के अंतर्गत जीवित व्यक्तियों के सिवाय यान द्वारा ले जाया जाने वाला पशुधन और (यान में मामूली तौर पर काम आने वाले उपस्कर से भिन्न) कोई भी चीज है, किन्तु मोटर कार में या मोटर कार से संलग्न ट्रैलर में वहन किया जाने वाला सामान या निजी चीजबस्त या यान में यात्रा करने वाले यात्रियों का निजी सामान इसके अंतर्गत नहीं है;
१४)माल वाहन से ऐसा कोई मोटर यान अभिप्रेत है जो केवल माल ढोने के काम के लिए निर्मित या अनुकूलित है या ऐसा कोई मोटर यान भी, जो ऐसे निर्मित या अनुकूलित नहीं है, उस दशा में अभिप्रेत है जब कि उसका उपयोग माल ढोने में किया जाता है ;
१५) किसी यान की बाबत सकल यान भार से यान का कुल भार और उस यान के लिए रजिस्ट्रीकरण प्राधिकारी द्वारा अनुज्ञेय रूप में प्रमाणित और रजिस्ट्रीकृत भार अभिप्रेत है;
१६) भारी माल यान से अभिप्रेत है ऐसा कोई माल यान जिसका सकल यान भार, या ऐसा ट्रेक्टर या रोड-रोलर जिसमें से किसी का लदान रहित भार, १२००० किलोग्राम से अधिक है;
१७)भारी यात्री मोटर यान से अभिप्रेत है ऐसा कोई लोक सेवा यान या प्राइवेट सेवा यान या शिक्षा संस्था बस या कोई बस जिसका सकल यान भार, या ऐसी मोटर कार जिसका लदान रहित भार, १२००० किलोग्राम से अधिक है;
६.(***)
१९)शिक्षार्थी अनुज्ञप्ति से ऐसी अनुज्ञप्ति अभिप्रेत है जो सक्षम प्राधिकारी द्वारा अध्याय २ के अधीन दी गई है, और जो उसमें विनिर्दिष्ट व्यक्ति को शिक्षार्थी के रूप में कोई मोटर यान या किसी विनिर्दिष्ट वर्ग या वर्णन का मोटर यान चलाने के लिए प्राधिकृत करती है;
२०) अनुज्ञापन प्राधिकारी से वह प्राधिकारी अभिप्रेत है जो अध्याय २ या अध्याय ३ के अधीन अनुज्ञप्ति देने के लिए सशक्त है;
२१)हल्का मोटर यान से अभिप्रेत है ऐसा कोई परिवहन यान या बस जिसमें से किसी का सकल यान भार, या ऐसी मोटर कार या ट्रैक्टर या रोड-रोलर जिसमें से किसी का लदान रहित भार, ७.(७५००) किलोग्राम से अधिक नहीं है;
21A)८.(२१क) विनिर्माता से कोई ऐसा व्यक्ति अभिप्रेत है जो मोटर यानों के विनिर्माण में लगा है; )
२२)बडी टैक्सी से ऐसा मोटर यान अभिप्रेत है जो भाडे या पारिश्रमिक पर छह से अधिक किन्तु बारह से अनधिक यात्रियों का, जिसके अंतर्गत ड्राईव्हर नहीं है, वहन करने के लिए निर्मित या अनुकूलित है;
२३)मध्यम माल यान से हल्के मोटर यान या भारी माल यान से भिन्न कोई माल वाहन अभिप्रेत है;
२४)मध्यम यात्री मोटर यान से ऐसा कोई लोक सेवा यान या प्राइवेट सेवा यान या शिक्षा संस्था बस अभिप्रेत है जो मोटर साइकिल, ९.(रुपांतरित यान ), हल्का मोटर यान या भारी यात्री मोटर यान से भिन्न है ;
२५)मोटर टैक्सी से ऐसा कोई मोटर यान अभिप्रेत है जो भाडे या पारिभाषिक पर अधिक से अधिक छह यात्रियों का, जिसके अंतर्गत ड्राईव्हर नहीं है, वहन करने के लिए निर्मित या अनुकूलित है ;
२६)मोटर कार से परिवहन यान बस रोड-रोलर, ट्रैक्टर, मोटर साइकिल या १०.(रुपांतरित यान ) से भिन्न कोई मोटर यान अभिप्रेत है;
२७)मोटर साइकिल से दो पहियों वाला ऐसा मोटर यान अभिप्रेत है जिसमें मोटर यान से संलग्न, एक अतिरिक्त पहिए वाली साइड कार, जो पृथक् की जा साकती है, सम्मिलित है;
२८)मोटर यान या यान से कोई ऐसा यंत्र नोदित यान अभिप्रेत है जो सडकों पर उपयोग के अनुकूल बना लिया गया है, चाहे उसमें नोदन शक्ति किसी बाहरी स्त्रोत से संचारित की जाती हो या आंतरिक स्त्रोत से और इसके अंतर्गत चैसिस, जिससे बाडी संलग्न नहीं है और ट्रेलर भी है, किन्तु इसके अंतर्गत पटरियों पर चलने वाला यान अथवा केवल कारखाने में या अन्य किसी सीमाबध्द परिसर में उपयोग किए जाने के अनुकूल बना लिया गया विशेष प्रकार का यान या चार से कम पहियों वाला यान जिसमें ११.(पच्चीस घन सेंटी मीटर) से अनधिक क्षमता वाला इंजन लगाया गया है, नहीं है;
२९)बस से ऐसा मोटर यान अभिप्रेत है जो छह से अधिक यात्रियों का, जिसके अंतर्गत ड्राईव्हर नहीं है, वहन करने के लिए निर्मित या अनुकूलित है ;
३०)स्वामी से वह व्यक्ति अभिप्रेत है जिसके नाम में मोटर यान रजिस्टर है और जहां ऐसा व्यक्ति अवयस्क है, वहां उस अवस्क का संरक्षक अभिप्रेत है और उस मोटर यान के संबंध में जो अवक्रय करार या पट्टे के करार या आड्मान के करार पर लिया गया है, वह व्यक्ति अभिप्रेत है जिसका उस यान पर उस करार के अधीन कब्जा है;
३१)परमिट से ऐसा परमिट अभिप्रेत है जो राज्य या प्रादेशिक परिवहन प्राधिकरण ने या इस अधिनियम के अधीन इस निमित्त विहित प्राधिकारी ने किसी मोटर यान का परिवहन यान के रूप में उपयोग करने के लिए प्राधिकृत करते हुए दिया है;
३२)विहित से इस अधिनियम के अधीन बनाए गए नियमों द्वारा विहित अभिप्रेत है;
३३)प्राइवेट सेवा यान से ऐसा मोटर यान अभिप्रेत है जो छह से अधिक व्यक्तियों का, जिसके अंतर्गत ड्राईव्हर नहीं है, वहन करने के लिए निर्मित या अनुकूलित है और साधारणत: ऐसे यान के स्वामी द्वारा या उसकी ओर से, भाडे या पारिश्रमिक से अन्यथा उसके व्यापार या कारबार के लिए, या उसके संबंध में, व्यक्तियों का वहन करने के प्रयोजन के लिए उपयोग में लाया जाता है, किन्तु इसमें लोक प्रयोजनों के लिए उपयोग में लाया जाने वाला मोटर यान नहंी है;
३४)सार्वजनिक स्थान से ऐसी सडक, गली, मार्ग या अन्य स्थान, चाहे वह आम रास्ता हो या नहीं, अभिप्रेत है जिस पर जनता को पहुंच का अधिकार प्राप्त है, और इसके अंतर्गत कोई ऐसा स्थान या अड्डा भी है जहां पर मंजिली गाडी द्वारा यात्रियों को चढाया या उतारा जाता है;
३५)सार्वजनिक सेवा यान से ऐसा कोई मोटर यान अभिप्रेत है जिसका उपयोग भाडे या पारिश्रमिक पर यात्रियों का वहन करने के लिए किया जाता है या जिसे उपयोग के अनुकूल बना लिया गया है तथा इसके अंतर्गत बडी टैक्सी, मोटर टैक्सी, ठेका गाडी और मंजिली गाडी भी है;
३६)रजिस्ट्रीकृत धुरी भार से किसी यान की धुरी के संबंध में , धुरी भार अभिप्रेत है जिसकी बाबत रजिस्ट्रीकर्ता प्राधिकारी द्वारा यह प्रमाणित और रजिस्ट्रीकृत है कि वह उस धुरी के लिए अनुज्ञेय धुरी भार है;
३७)रजिस्ट्रीकर्ता प्राधिकारी से वह प्राधिकारी अभिप्रेत है जिसे अध्याय ४ के अधीन मोटर यानों को रजिस्टर करने के लिए सशक्त किया गया है;
३८)मार्ग से यात्रा का वह पथ अभिप्रेत है जिसकी बाबत यह विनिर्दिष्ट है कि वह ऐसा राजमार्ग है जिसमें एक टर्मिनल से दूसरे टर्मिनल तक मोटर यान, आ जा सकता है;
38A)१२.(३८क) स्कीम से इस अधिनियम के अधीन विरचित स्कीम अभिप्रेत है;)
१३.(३९) अध्र्द ट्रेलर से (ट्रेलर से भिन्न) कोई ऐसा यान अभिप्रेत है, जो यंत्र नोदित नहीं है और जो किसी मोटर यान से संयोजित किए जाने के लिए आशयित है तथा जो इस प्रकार निर्मित है, कि उसका एक प्रभाग उस मोटर यान के ऊपर है और उसके भार का एक प्रभाग उस मोटर यान द्वारा वहन किया जाता है; )
४०)मंजिली गाडी से ऐसा मोटर यान अभिप्रेत है जो भाडे या पारिश्रमिक पर छह से अधिक यात्रियों का, जिसके अंतर्गत ड्राईव्हर नहीं है, पूरी यात्रा अथवा यात्रा की मंजिलों तक के लिए, अलग-अलग यात्रियों द्वारा या उनकी ओर से दिए गए अलग-अलग किरायों पर वहन करने के लिए, निर्मित या अनुकूलित है;
४१)किसी संघ राज्यक्षेत्र के संबंध में, राज्य सरकार से संविधान के अनुच्छेद २३९ के अधीन नियुक्त उसका प्रशासक अभिप्रेत है;
४२)राज्य परिवहन उपक्रम से ऐसा कोई उपक्रम अभिप्रेत है जो वहां सडक परिवहन सेवा की व्यवस्था करता है, जहां ऐसा उपक्रम निम्नलिखित द्वारा चलाया जाता है :-
१)केन्द्रीय सरकार या कोई राज्य सरकार;
२)सडक परिवहन निगम अधिनियम, १९५० (१९५० का ६४) की धारा ३ के अधीन स्थापित कोई सडक परिवहन निगम ;
३)केन्द्रीय सरकार या एक या अधिक राज्य सरकारों के अथवा केन्द्रीय सरकार और एक या अधिक राज्य सरकारों के स्वामित्व या नियंत्रण में की कोई नगरपालिका या कोई निगम या कंपनी;
१४.(४) जिला परिषद् या वैसा ही कोई अन्य स्थानीय प्राधिकारी ।)
स्पष्टीकरण- इस खंड के प्रयोजनों के लिए, सडक परिवहन सेवा से भाडे या पारिश्रमिक पर सडक मार्ग द्वारा यात्रियों या माल अथवा दोनों का वहन करने वाली मोटर यान सेवा अभिप्रेत है;
42A)१५.(४२क) परीक्षण अभिकरण से धारा ११०ख के अधीन परीक्षण अभिकरण के रुप में नामनिर्दिष्ट निकाय अभिप्रेत है;)
४३)पर्यटन यान से ऐसी ठेका गाडी अभिप्रेत है जो उन विनिर्देशों के अनुसार निर्मित या अनुकूलित, सज्जित और अनुरक्षित है जिन्हें इस निर्मित्त विनिर्दिष्ट किया जाए ;
४४)ट्रैक्टर से ऐसा मोटर यान अभिप्रेत है जो स्वयं (नोदन के प्रयोजन के लिए काम में आने वाले उपस्कर से भिन्न) कोई भार वहन करने के लिए निर्मित नहीं है, किंतु इसके अंतर्गत रोड-रोलर नहीं है;
४५)यातायात संकेत के अंतर्गत सभी संकेत, चेतावनी संकेत स्तंभ, दिशा सूचक स्तंभ, सडकों पर चिहनांकन या अन्य युक्तियां हैं जो मोटर यानों के ड्राईव्हरों की जानकारी, मार्गदर्शन या निदेशन के लिए है;
४६)ट्रेलर से अध्र्द-ट्रेलर और साइड कार से भिन्न कोई ऐसा यान अभिप्रेत है जो मोटर यान के द्वारा खींचा जात है अथवा खींचे जाने के लिए आशयित है ;
४७)परिवहन यान से कोई सार्वजनिक सेवा यान, माल वाहन, शिक्षा संस्था बस या प्राइवेट सेवा यान अभिप्रेत है;
४८)लदान रहित भार से यान या ट्रेलर का ऐसे सभी उपस्कर सहित भार अभिप्रेत है, जिसका उपयोग मामूली तौर पर यान या ट्रेलर के चालू होने पर किया जाता है किन्तु इसमें ड्राईव्हर या परिचालक का भार सम्मिलित नहीं है तथा जहां आनुकाल्पिक पुजों या बाडी का उपयोग किया जाता है वहां यान के लदान रहित भार से यान का, ऐसे सबसे भारी आनुल्पिक पुर्जे या बाडी भार अभिप्रेत है;
४९)भार से यान के पहियों द्वारा उस भू-तल पर, जिस पर वह यान १६.(या गतिमान होता है) उस समय संचारित किया जाने वाला कुल भार अभिप्रेत है ।
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१. २०१९ के अधिनियम सं. ३२ की धारा २(एक) द्वारा खंड (१) के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
२. २०१९ के अधिनियम सं. ३२ की धारा २ (दो) द्वारा खंड ४ के बाद अंत:स्थापित ।
३.१९९४ के अधिनियम सं.५४ की धारा २ द्वारा (१४-११-१९९४ से) लोप किया गया ।
४. २०१९ के अधिनियम सं. ३२ की धारा २ (तीन) द्वारा खंड ९ के बाद अंत:स्थापित ।
५. २०१९ के अधिनियम सं. ३२ की धारा २ (चार) द्वारा खंड १२ के बाद अंत:स्थापित ।
६. २०१९ के अधिनियम सं. ३२ की धारा २ (पाँच) द्वार खंड (१८)अशक्त यात्री गाडी से ऐसा मोटर यान अभिप्रेत है जो किसी शारीरिक खराबी या नि:शक्तता से पीडित किसी व्यक्ति के उपयोग के लिए विशेष रूप से परिकल्पित तथा निर्मित है, केवल अनुकूलित नहीं है, और जिसका उपयोग ऐसे व्यक्ति द्वारा या उसके लिए ही किया जाता है;) का लोप किया गया ।
७. १९९४ के अधिनियम सं.५४ की धारा २ द्वारा ६००० के स्थान पर (१४-११-१९९४ से) प्रतिस्थापित ।
८. १९९४ के अधिनियम सं.५४ की धारा २ द्वारा (१४-११-१९९४ से) अंत:स्थापित।
९. २०१९ के अधिनियम सं. ३२ की धारा २ (छह) द्वारा अशक्त यात्री गाडी के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
१०. २०१९ के अधिनियम सं. ३२ की धारा २ (सात) द्वारा अशक्त यात्री गाडी के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
११. १९९४ के अधिनियम सं. ५४ की धारा २ द्वारा पैतीस घन सेंटीमीट के स्थान पर (१४-११-१९९४ से ) प्रतिस्थापित ।
१२. २०१९ के अधिनियम सं. ३२ की धारा २ (आठ) द्वारा खंड ३८ के बाद अंत:स्थापित ।
१३. १९९४ के अधिनियम सं. ५४ की धारा २ द्वारा (१४-११-१९९४ से ) प्रतिस्थापित ।
१४. १९९४ के अधिनियम सं. ५४ की धारा २ द्वारा (१४-११-१९९४ से ) अंत:स्थापित ।
१५. २०१९ के अधिनियम सं. ३२ की धारा २ (नौ) द्वारा खंड ४२ के बाद अंत:स्थापित ।
१६. २०१९ के अधिनियम सं. ३२ की धारा २ (दस) द्वारा खंड ४९ में टिका हुआ है शब्द के स्थान पर प्रतिस्थापित ।

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