भारतीय दण्ड संहिता १८६०
अध्याय ९-क :
१.(निर्वाचन संबंधी अपराधों के विषय में :
धारा १७१ क :
अभ्यर्थी (उम्मीदवार), निर्वाचन अधिकार परिभाषित :
(See section 169 of BNS 2023)
इस अध्याय के प्रयोजनों के लिए –
२.(क) अभ्यर्थी (उम्मीदवार) से वह व्यक्ति अभिप्रेत है जो किसी निर्वाचन में अभ्यर्थी (उम्मीदवार) के रुप में नामनिर्दिष्ट किया गया है 😉
ख) निर्वाचन अधिकार से किसी निर्वाचन में अभ्यर्थी (उम्मीदवार) के रुप में खडे होने या खडे न होनें या अभ्यर्थना (उम्मीदवारी) से अपना नाम वापस लेने या मत देने या मत देने से विरत रहने का किसी व्यक्ति का अधिकार अभिप्रेत है ।
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१. १९२० के अधिनियम सं० ३९ की धारा २ द्वारा अध्याय ९क अन्त:स्थापित ।
२. १९७५ के अधिनियम सं० ४० की धारा ९ द्वारा खंड (क) के स्थान पर प्रतिस्थापित ।