Ipc धारा १२३ : युद्ध करने की परिकल्पना को सुकर बनाने के आशय से छिपाना :

भारतीय दण्ड संहिता १८६०
धारा १२३ :
युद्ध करने की परिकल्पना को सुकर बनाने के आशय से छिपाना :
(See section 150 of BNS 2023)
अपराध का वर्गीकरण :
अपराध : युद्ध करने की परिकल्पना को सुकर बनाने के आशय से छिपाना ।
दण्ड :दस वर्ष के लिए कारावास, और जुर्माना ।
संज्ञेय या असंज्ञेय :संज्ञेय ।
जमानतीय या अजमानतीय :अजमानतीय ।
शमनीय या अशमनीय : अशमनीय ।
किस न्यायालय द्वारा विचारणीय है :सेशन न्यायालय
जो कोई १.(भारत सरकार) के विरुद्ध युद्ध करने की परिकल्पना के अस्तितों को किसी कार्य द्वारा, या किसी अवैध (विधी विरुद्ध) लोप द्वारा, इस आशय से कि इस प्रकार छिपाने के द्वारा ऐसे युद्ध करने को सुकर बनाए, या यह संभाव्य जानते हुए कि इस प्रकार छुपाने के द्वारा ऐसे युद्ध करने को सुकर बनाएगा, छिपाएगा, वह दोनो में से किसी भाति के कारावास से दण्डित किया जाएगा, जिसकी अवधि दस वर्ष तक की हो सकेगी, और जुर्माने से भी दण्डनीय होगा ।
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१. विधि अनुकूलन आदेश १९५० द्वारा या क्वीन प्रांतो या उनके किसी भाग की प्रभुता से वंचित करना शब्दों का लोप किया गया ।

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