भारत का संविधान
अनुच्छेद १२० :
संसद् में प्रयोग की जाने वाली भाषा ।
१) भाग १७ में किसी बात के होते हुए भी, किन्तु अनुच्छेद ३४८ के उपबंधों के अधीन रहते हुए, संसद् में कार्य हिन्दी में या अंग्रेजी में किया जाएगा :
पंरन्तु, यथास्थिति, राज्य सभा का सभापति या लोक सभा का अध्यक्ष अथवा उस रूप में कार्य करने वाला व्यक्ति किसी सदस्य को, जो हिन्दी में या अंग्रेजी में अपनी पर्याप्त अभिव्यक्ति नहीं कर सकता है, अपनी मातृभाषा में सदन को संबोधित करने की अनुज्ञा दे सकेगा ।
२) जब तक संसद् विधि द्वारा अन्यथा उपबंध न करे तब तक इस संविधान के प्रारंभ के पंद्रह वर्ष की अवधि की समाप्ति के पश्चात् यह अनुच्छेद ऐसे प्रभावी होगा मानो या अंग्रेजी में शब्दों का उसमें से लोप कर दिया गया हो ।