Bns 2023 धारा २६७ : न्यायिक कार्यवाही में बैठे हुए, लोक सेवक का साशय अपमान या उसके कार्य में विघ्न (बाधा) :

भारतीय न्याय संहिता २०२३
धारा २६७ :
न्यायिक कार्यवाही में बैठे हुए, लोक सेवक का साशय अपमान या उसके कार्य में विघ्न (बाधा) :
धारा : २६७
अपराध का वर्गीकरण :
अपराध : न्यायिक कार्यवाही के किसी प्रक्रम में बैठे हुए लोक सेवक का साशय अपमान या उसके कार्य में विघ्न ।
दण्ड : छह मास के लिए कारावास, या पांच हजार रुपए का जुर्माना, या दोनों ।
संज्ञेय या असंज्ञेय : असंज्ञेय ।
जमानतीय या अजमानतीय : जमानतीय ।
शमनीय या अशमनीय : अशमनीय ।
किस न्यायालय द्वारा विचारणीय है : अध्याय २८ के उपबन्धो के अधीन रहते हुए वह न्यायालय जिसमें अपराध किया गया है; या यदि किसी न्यायालय में नहीं किया गया है, कोई मजिस्ट्रेट ।
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जो कोई किसी लोक सेवक का उस समय, जबकि ऐसा लोकसेवक न्यायिक कार्यवाही के किसी प्रक्रम (अवस्था) में बैठा हुआ हो, साशय कोई अपमान करेगा या उसके कार्य में को विघ्न (बाधा) डालेगा, वह सादा कारावास से दण्डित किया जाएगा, जिसकी अवधि छह मास तक की हो सकेगी, या जुर्माने से, जो पाच हजार रुपए तक का हो सकेगा, या दोनों से, दण्डित किया जाएगा ।

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