Constitution अनुच्छेद १०४ : अनुच्छेद ९९ के अधीन शपथ लेने या प्रतिज्ञान करने से पहले या अर्हित न होते हुए या निरर्हित किए जाने पर बैठने और मत देने के लिए शास्ति।

भारत का संविधान
अनुच्छेद १०४ :
अनुच्छेद ९९ के अधीन शपथ लेने या प्रतिज्ञान करने से पहले या अर्हित न होते हुए या निरर्हित किए जाने पर बैठने और मत देने के लिए शास्ति।
यदि संसद् के किसी सदन में कोई व्यक्ति अनुच्छेद ९९ की अपेक्षाओं का अनुपालन करने से पहले, या यह जानते हुए कि मैं उसकी सदस्यता के लिए अर्हित नहीं हूं या निरर्हित कर दिया गया हूं या संसद् द्वारा बनाई गई किसी विधि के उपबंधों द्वारा ऐसा करने से प्रतिषिध्द कर दिया गया हूं, सदस्य के रूप में बैठता है या मत देता है तो वह प्रत्येक दिन के लिए, जब वह इस प्रकार बैठता है या मत देता है, पांच सौ रूपए की शास्ति का भागी होगा जो संघ को देय ऋण के रूप में वसूल की जाएगी।

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