किशोर न्याय अधिनियम २०१५
धारा ६१ :
१.(दत्तक ग्रहण कार्यवाहियों के निपटान लिए प्रक्रिया ।)
१) कोई दत्तक ग्रहण आदेश जारी करने से पहले २.(जिला मजिस्ट्रेट) अपना यह समाधान करेगा कि,-
क) दत्तक ग्रहण बालक के कल्याण के लिए है;
ख) बालक की आयु और समझ को ध्यान में रखते हुए बालक की इच्छाओं पर सम्यक् विचार किया गया है; और
ग) दत्तक ग्रहण फीस या सेवा प्रभार या बालक की समग्र देखरेख के मुद्दे प्राधिकरण द्वारा विरचित दत्तक ग्रहण विनियमों में यथा अनुज्ञात के सिवाय, दत्तक ग्रहण के प्रतिफलस्वरुप कोई भी संदाय या परिश्रमिक न तो भावी दत्तक माता-पिता ने दिया है या देने के लिए सहमत हुए है, न ही विशिष्ट दत्तक ग्रहण अभिकरण या नातेदार दत्तक ग्रहण की दशा में बालक के माता-पिता या संरक्षक ने प्राप्त किया है या प्राप्त करने के लिए सहमत हुए है ।
२) दत्तक ग्रहण कार्यवाहियां बंद कमरे में की जाएंगी और मामले को २.(जिला मजिस्ट्रेट) द्वारा उसके फाइल किए जाने की तारीख से दो मास की अवधि के भीतर निपटाया जाएगा ।
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१. २०२१ के अधिनियम सं० २३ की धारा २१ द्वारा पाश्र्व शीर्ष के स्थान पर प्रतिस्थापित ।
२. २०२१ के अधिनियम सं० २३ की धारा २१ द्वारा न्यायालय में शब्द के स्थान पर प्रतिस्थापित ।