भारतीय साक्ष्य अधिनियम २०२३
धारा ८१ :
इलेक्ट्रॉनिक या डिजिटल रुप में राजपत्र के बारे में उपधारणा :
न्यायालय, ऐसे प्रत्येक इलेक्ट्रॉनिक या डिजिटल अभिलेख का असली होना उपधारित करेगा, जिसका शासकीय राजपत्र होना तात्पर्यित है या जिसका ऐसा इलेक्ट्रॉनिक या डिजिटल अभिलेख होना तात्पर्यित है, जिसका किसी व्यक्ति द्वारा रखा जाना किसी विधि द्वारा निर्दिष्ट है, यदि ऐसा इलेक्ट्रॉनिक या डिजिटल अभिलेख सारत: उस रुप में रखा गया हो, जो विधि द्वारा अपेक्षित है और उचित अभिरक्षा से पेश किया गया हो ।
स्पष्टीकरण :
इस धारा और धारा ९३ के प्रयोजन के लिए, इलेक्ट्रॉनिक अभिलेख का उचित अभिरक्षा में होना कहा जाता है, यदि वे ऐसे स्थान में और उस व्यक्ति की देखरेख में है, जहाँ और जिसके पास वे प्रकृत्या होनी चाहिए; किन्तु कोई भी अभिरक्षा अनुचित नहीं है, यदि यह साबित कर दिया जाए कि उस अभिरक्षा का उद्गम विधि सम्मत था या उस विशिष्ट मामले की परिस्थितियाँ ऐसी हों, जिनसे ऐसा उद्गम अधिसंभाव्य हो जाता है ।