भारतीय न्याय संहिता २०२३
धारा २०४ :
लोक सेवक का प्रतिरुपण करना :
धारा : २०४
अपराध का वर्गीकरण :
अपराध : लोक सेवक का प्रतिरुपण ।
दण्ड : छह मास से कम नहीं होगी किन्तु तीन वर्ष के लिए कारावास और जुर्माना ।
संज्ञेय या असंज्ञेय : संज्ञेय ।
जमानतीय या अजमानतीय : अजमानतीय ।
शमनीय या अशमनीय : अशमनीय ।
किस न्यायालय द्वारा विचारणीय है : कोई मजिस्ट्रेट ।
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जो कोई किसी विशिष्ट पद को लोक सेवक के नाते धारण करने का अपदेश यह जानते हुए करेगा कि वह ऐसा विशिष्ट पद धारण नहीं करता है, या ऐसा पर धारण करने वाले किसी अन्य व्यक्ति का छद्म प्रतिरुपण करेगा और ऐसे बनावटी रुप में ऐसे पदाभास से कोई कार्य करेगा या करने का प्रयत्न करेगा, वह दोनों में से किसी भांति के कारावास से दण्डित किया जाएगा, जिसकी अवधि छह मास के कम की नहीं होगी किन्तु तीन वर्ष तक की हो सकेगी, और जुर्माने से दण्डित किया जाएगा ।