पशुओं के प्रति क्रूरता का निवारण अधिनियम १९६०
धारा ६ :
१.(बोर्ड के सदस्यों का कार्यकाल और उनकी सेवा की शर्ते :
(१) वह अवधि जिसके लिए बोर्ड का धारा ५क के अधीन पुनर्गठन किया जा सकेगा, पुनर्गठन की तारीख से तीन वर्ष होगी और इस प्रकार पुनर्गठित बोर्ड का अध्यक्ष और अन्य सदस्य उस अवधि के अवसान तक पद धारण करेंगे जिसके लिए बोर्ड का इस प्रकार पुनर्गठन किया गया है।
(२) उपधारा (१) में किसी बात के होते हुए भी, –
(a)(क) पदेन सदस्य की पदावधि तब तक बनी रहेगी जब तक वह उस पद को धारण किए रहता है जिसके आधार पर वह ऐसा सदस्य है;
(b)(ख) व्यक्तियों के किसी निकाय का प्रतिनिधित्व करने के लिए धारा ५ के खण्ड (ग), खण्ड (ङ), खण्ड (च), खण्ड (छ) खण्ड (ज) या खण्ड (झ) के अधीन निर्वाचित या चुने गए सदस्य की पदावधि जैसे ही वह सदस्य उस निकाय का, जिसने उसे निर्वाचित किया था या जिसकी बाबत वह चुना गया था, सदस्य नहीं रह जाता है, समाप्त हो जाएगी;
(c)(ग) किसी आकस्मिक रिक्ति को भरने के लिए नियुक्त, नामनिर्दिष्ट, निर्वाचित या चुने गए सदस्य की पदावधि उस सदस्य की अवशिष्ट पदावधि के लिए होगी जिसके स्थान पर वह नियुक्त, नामनिर्दिष्ट या निर्वाचित किया गया है या चुना गया है ;
(d)(घ) केन्द्रीय सरकार किसी सदस्य को, उसके प्रस्थापित हटाए जाने के विरुद्ध हेतुक दर्शित करने का उसे उचित अवसर देने के पश्चात उन कारणों से जो लेखबद्ध किए जाएंगे, किसी भी समय हटा सकेगी और ऐसे हटाए जाने से हुई कोई रिक्ति खण्ड (ग) के प्रयोजन के लिए आकस्मिक रिक्ति मानी जाएगी।
(३) बोर्ड के सदस्य ऐसे भत्ते, यदि कोई हों, पाएंगे जिनके लिए बोर्ड केन्द्रीय सरकार के पूर्व अनुमोदन के अधीन रहते हुए, इस निमित्त बनाए गए नियमों द्वारा उपबंध करे ।
(४) बोर्ड द्वारा किए गए किसी भी कार्य या कार्यवाही को केवल इसी कारण प्रश्नगत नहीं किया जाएगा कि बोर्ड में कोई रिक्ति थी अथवा उसके गठन में कोई त्रुटि थी तथा विशिष्टतया और पूर्वगामी भाग की व्यापकता पर प्रतिकूल प्रभाव डाले विना, उस अवधि की समाप्ति, जिसके लिए बोर्ड का धारा ५ क के अधीन पुनर्गठन किया गया है और उस धारा के अधीन उसके आगे पुनर्गठन के बीच की कालावधि के दौरान, बोर्ड के पदेन सदस्य वार्ड की सभी शक्तियों का प्रयोग और कृत्यों का निर्वहन करेंगे।)
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१. १९८२ के अधिनियम से २६ की धारा ७ द्वारा धारा ६ के स्थान पर प्रतिस्थापित।