अनुच्छेद २०४ : विनियोग विधेयक ।
भारत का संविधान :
अनुच्छेद २०४ :
विनियोग विधेयक ।
१) विधान सभा द्वारा अनुच्छेद २०३ के अधीन अनुदान किए जाने के पश्चात् यथाशक्य शीघ्र, राज्य की संचित निधि में से -
क) विधान सभा द्वारा इस प्रकार किए गए अनुदानों की, और
ख) राज्य की संचित निधि पर भारित, किन्तु सदन या सदनों के समक्ष पहले रखे गए विवरण में दर्शित रकम से किसी भी दशा में अनधिक व्यय की,
पूर्ति के लिए अपेक्षित सभी धनराशियों के विनियोग का उपबंध करने के लिए विधेयक पुर:स्थापित किया जाएगा।
२)इस प्रकार किए गए किसी अनुदान की रकम में परिवर्तन करने या अनुदान के लक्ष्य को बदलने अथवा राज्य की संचित निधि पर भारित व्यय की रकम में परिवर्तन करने का प्रभाव रखने वाला कोई संशोधन, ऐसे किसी विधेयक में राज्य के विधान-मंडल के सदन में या किसी सदन में प्रस्थापित नहीं किया जाएगा और पीठासीन व्यक्ति का इस बारे में विनिश्चय अंतिम होगा कि कोई संशोधन इस खंड के अधीन अग्राह्य है या नहींं ।
३) अनुच्छेद २०५ और अनुच्छेद २०६ के उपबंधों के अधीन रहते हुए, राज्य की संचित निधि में से इस अनुच्छेद के उपबंधों के अनुसार पारित विधि द्वारा किए गए विनियोग के अधीन ही कोई धन निकाला जाएगा, अन्यथा नहीं ।
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